झारखंड : 23 सालों में पहली बार मुआवजा के प्रकारों का दायरा बढ़ा, हेमंत सरकार के निर्णयों से लाखों पीडित होंगे लाभान्वित*l

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गरीब परिवार में जब कभी कोई बड़ा हादसा होता है या प्राकृतिक आपदा से किसी की मौत हो जाती है, तो पूरा परिवार मानसिक रूप से टूट जाता है। वहीं, जब मरने वाला परिवार का मुखिया हो, तो परिवार आर्थिक रुप से बिखर जाता है। ऐसी दशा में राज्य सरकार द्वारा दी जाने वाली मुआवजा उस परिवार के लिए काफी राहत भरा होता है। मिलने वाला मुआवजा परिवार का हक होता है। हादसा किसी भी प्रकार की हो सकती है। कई बार हादसा ऐसा भी होता है, जिसमें मुआवजा देने का कोई विशेष प्रावधान नहीं होता। झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार ने अब दिए जाने वाले मुआवजा के प्रकारों में व्यापक बदलाव किया है। अनेक तरह के मुआवजा के प्रकारों सहित पहली बार राज्य में साप्रदायिक दंगों की घटना की मुआवजा की श्रेणी में रखा गया है। राज्य गठन के करीब 23 सालों में ऐसा पहली बार हुआ है। हेमंत सरकार के इस निर्णय से झारखंड के लाखों पीड़ित परिवार प्रभावित होंगे।

सांप्रदायिक दंगों में राज्य सरकार पीड़ित परिवार को अधिकतम देगी 1 लाख तक का मुआवजा


राज्य सरकार अभी तक उग्रवादी, आतंकवादी और जातीय हमलों में आवास, व्यवसायिक परिसरों या चल संपत्ति को नुकसान पहुंचाने पर ही मुआवजा देती रही है। अब हेमत सरकार ने इसमें संशोधन करते हुए सांप्रदायिक दंगे में संपत्ति नुकसान को भी इसमें जोड़ दिया है। इस तरह के सांप्रदायिक दंगों में राज्य सरकार पीडित परिवार को अधिकतम 1 लाख तक का मुआवजा देगी।

मजदूरों की मौत के बाद उनके शव को वहां से लाने का पूरा खर्च वहन करेगी राज्य सरकार

रोजगार के लिये झारखंड से दूसरे देश या प्रदेश का रुख करने वाले मजदूरों के लिए भी हेमंत सोरेन सरकार ने बड़ा फैसला किया है। ऐसे मजदूरों की मौत के बाद उनके शव को वहां से लाने का पूरा खर्च राज्य सरकार वहन करेगी। पहले यह राशि 25,000 रुपए तक थी, जिसे बढ़ाकर 50,000 किया है। साथ ही मृतक श्रमिकों के परिजनों को राज्य सरकार 1 लाख रुपये का मुआवजा दे रही है।

सर्पदंश, बिच्छू के काटने, हाथी के रौंदने, तालाब में डूबने पर एक समान चार लाख मुआवजा

सरकार आपके द्वार कार्यक्रम के दौरान सीएम हेमंत सोरेन ने कहा था कि राज्य में अब किसी आपदा में मृत्यु होने पर मृतक के परिजनों को 4 लाख रुपये मुआवजा मिलेगा। अर्थात सर्पदंश, बिच्छू के काटने, हाथी के रौंदने, तालाब में डूबने पर एक समान चार लाख मुआवजा दिया जायेगा। हेमंत सरकार के इस फैसले से ग्रामीण क्षेत्रों के लोग सीधे सीधे प्रभावित होंगे।

जंगली जानवरों से हमले से घर और संपत्ति के नुकसान की भरपाई के लिए 1 लाख रुपये देगी सरकार

जून 2023 को हुए हेमंत सोरेन कैबिनेट में निर्णय हुआ है कि जंगली जानवरों के हमले के दौरान गंभीर चोटें आने पर पीड़ितों के लिए मुआवजे की राशि को एक लाख रुपये से बढ़ाकर 1.5 लाख रुपये मिलेगा। जबकि किसी व्यक्ति के विकलांग होने की स्थिति में मुआवजे की राशि को 2 लाख रुपये से बढ़ाकर 3.25 लाख रुपये कर दिया गया है। जंगली जानवरों के हमले के कारण मामूली चोटें आने पर भी पीड़ितों को बढ़ा हुआ मुआवजा मिलेगा। मुआवजे राशि को 15,000 से बढ़ाकर 25,000 रुपये कर दिया गया है। इसके अलावा घर और संपत्ति के नुकसान की भरपाई के लिए अब 1 लाख रुपये सरकार देगी।

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