ऐतिहासिक पहल: देश का पहला ‘Energy Transition Readiness Index’ लाने वाला राज्य

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झारखंड ने स्वच्छ ऊर्जा के क्षेत्र में एक नया इतिहास रच दिया है। मंगलवार को रांची के नेपाल हाउस स्थित योजना भवन में एक भव्य समारोह में राज्य सरकार ने Swaniti Initiatives के साथ एक ऐतिहासिक समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए। यह समझौता झारखंड को देश का पहला ऐसा राज्य बनाता है, जो ‘Energy Transition Readiness Index’ फ्रेमवर्क विकसित करने जा रहा है। यह पहल न केवल पर्यावरण संरक्षण की दिशा में एक क्रांतिकारी कदम है, बल्कि झारखंड को वैश्विक स्तर पर स्वच्छ ऊर्जा का चैंपियन बनाने की दिशा में भी एक मील का पत्थर साबित होगी।

ऐतिहासिक क्षण और नेतृत्व की उपस्थिति
इस समारोह में योजना एवं विकास मंत्री श्री राधाकृष्ण किशोर की गरिमामयी उपस्थिति ने कार्यक्रम को और खास बना दिया। उनके साथ विभागीय सचिव श्री मुकुल कुमार, विशेष सचिव श्री राजीव रंजन, Swaniti Initiatives की प्रतिनिधि श्रीमती अन्ना भट्टाचार्य और कई अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे। यह आयोजन झारखंड के स्वच्छ और सुरक्षित भविष्य के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बन गया।

‘Energy Transition Readiness Index’ क्या है? 
यह एक अभिनव और दूरदर्शी फ्रेमवर्क है, जो झारखंड के सभी विभागों को स्वच्छ ऊर्जा के लक्ष्यों के लिए एकजुट करने और उनके बीच तालमेल स्थापित करने में मार्गदर्शक बनेगा। यह इंडेक्स न केवल ऊर्जा क्षेत्र में नीतिगत सुधारों को गति देगा, बल्कि 2030 तक ‘Net Zero Carbon Emission’ के महत्वाकांक्षी लक्ष्य को हासिल करने का रोडमैप भी प्रदान करेगा। झारखंड इस इंडेक्स के जरिए न सिर्फ पर्यावरण संरक्षण में अग्रणी भूमिका निभाएगा, बल्कि देश के अन्य राज्यों के लिए एक प्रेरणा बनकर उभरेगा।

मंत्री का प्रेरणादायी विजन
समारोह को संबोधित करते हुए मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने कहा, “झारखंड अब केवल खनिज संपदा का गढ़ नहीं, बल्कि स्वच्छ ऊर्जा का सिरमौर भी बनेगा। यह फ्रेमवर्क पर्यावरण संरक्षण के साथ-साथ हमारी भावी पीढ़ियों के लिए एक सुरक्षित और टिकाऊ भविष्य की नींव रखेगा।” उन्होंने तकनीकी विशेषज्ञता को अपनाने और अन्य राज्यों के अनुभवों से सीखने पर जोर देते हुए इस पहल को वैश्विक मापदंडों के अनुरूप बताया।

Swaniti Initiatives का योगदान
Swaniti Initiatives की प्रतिनिधि श्रीमती अन्ना भट्टाचार्य ने इस फ्रेमवर्क की रूपरेखा प्रस्तुत करते हुए इसे झारखंड के लिए एक ‘वैश्विक रोडमैप’ करार दिया। उन्होंने बताया कि यह इंडेक्स राज्य के हर विभाग को स्वच्छ ऊर्जा के मिशन से जोड़ेगा और इसे एक समन्वित प्रयास में बदल देगा। उनकी प्रस्तुति ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे यह पहल झारखंड को पर्यावरणीय नेतृत्व के वैश्विक मंच पर स्थापित करेगी।

क्यों है यह पहल खास?
– पहला कदम: झारखंड देश का पहला राज्य है, जो इस तरह का इंडेक्स विकसित कर रहा है। 
– महत्वाकांक्षी लक्ष्य: 2030 तक शून्य कार्बन उत्सर्जन का लक्ष्य हासिल करने की दिशा में ठोस कदम। 
– चैंपियन स्टेट की पहचान:  झारखंड को पर्यावरण और ऊर्जा के क्षेत्र में अग्रणी राज्य के रूप में स्थापित करना। 
– सामूहिक सहभागिता: सभी विभागों को एक मंच पर लाकर संयुक्त प्रयासों को बढ़ावा देना। 

झारखंड का उज्ज्वल भविष्य
यह पहल न केवल झारखंड को स्व joyous ऊर्जा के क्षेत्र में वैश्विक पहचान दिलाएगी, बल्कि निवेश, तकनीकी सहयोग और पर्यावरणीय संतुलन के नए द्वार भी खोलेगी। यह कदम झारखंड को न सिर्फ भारत, बल्कि विश्व के नक्शे पर एक ‘ग्रीन स्टेट’ के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक मजबूत शुरुआत है।

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